मनीष सिंह
गाजीपुर। एशिया की सबसे बड़ी और पुरानी ओपियम फैक्ट्री वर्तमान में 22 लाख रुपये की कर्जदार हो गई है। यह कर्ज यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड का है। 6 दिसम्बर 2023 को ही बोर्ड ने नोटिस जारी कर दिया था, लेकिन फैक्ट्री के जिम्मेदार अधिकारियों के कान पर जूं नहीं रेंगा। बोर्ड ने रिमाइंडर पर रिमाइंडर भेजा, लेकिन फैक्ट्री के आला अधिकारियों ने कर्ज अदायगी के बारे में कुछ नहीं सेाचा और अंत में यह नौबत आ गई कि उप जिला मजिस्ट्रेट सदर को इस मामले में एक्शन लेना पड़ा। तहसील के अधिकारियों को जब बोर्ड ने नोटिस भेजा तो मामला एसडीएम सदर के संज्ञान में पहुंचा। फिर क्या था एसडीएम सदर ने फैक्ट्री के अधिकारियों से वार्ता की और पैसा जमा करने का निर्देश दिया। बावजूद इसके फैक्ट्री प्रशासन ने पैसा नहीं जमा किया। ऐसे में एसडीएम सदर ने कड़ा रुख अपनाते हुए फैक्ट्री के खाते को फ्रिज करने का फरमान जारी कर दिया। एसडीएम सदर के निर्देश पर एसबीआई बैंक में मौजूद फैक्ट्री का खाता फ्रिज कर दिया गया है। इस कार्रवाई से फैक्ट्री प्रशासन में पूरी तरह से हड़कम्प मचा गया है।
फैक्ट्री भारत सरकार के वित्त मंत्रालय, राजस्व विभाग के है अधीन
फैक्ट्री से जुड़े सूत्रों के मुताबिक इस प्रतिष्ठान में जीवन रक्षक दवाओं के अतिरिक्त कैंसर से पीड़ित मरीजों के लिए महत्वपूर्ण दवाओं का निर्माण होता है। यहीं नहीं यह एशिया की सबसे पुरानी और बड़ी अफीम की फैक्ट्री है। यहां सैकड़ों कर्मचारियों की नियुक्ति भी है।
सदर तहसीलदार ने भी दी थी नोटिस
बीते 8 अप्रैल को सदर तहसीलदार ने सरकारी अफीम फैक्ट्री के प्रबंधक को इस आशय की नोटिस भेजी थी कि यूपी प्रदूषण बोर्ड पर्यावरणी क्षतिपूर्ति का 22 लाख मांग पत्र प्राप्त हुआ है। जिसके सम्बंध में 6 दिसम्बर 2023 को आरसी प्रपत्र-36 प्राप्त कराया गया था। फिर भी निर्धारित अवधि के पश्चात बकाया धसनराशि जमा नहीं की गई। ऐसे में वसूली की कार्रवाई पूरी नहीं हो पाई। इस सम्बंध में वसूली के लिए जब तहसीलदार सदर ने फैक्ट्री के अधिकारियों से बैंक अकाउंट का डिटेल मांगा तो उन्होंने नहीं दिया। ऐसी स्थिति में तहसील कर्मियों द्वारा स्वतः बैंक अकाउंट प्राप्त किया। सदर तहसीलदार ने अपनी नोटिस में साफ अंकित किया था कि बैंक अकाउंट का डिटेल मिलने के बाद चल सम्पत्ति को कुर्क किया जा सकता है।
फैक्ट्री के महाप्रबंधक ने एसडीएम को भेजा पत्र
शासकीय अफीम एवं क्षारोद कारखाना के महाप्रबंधक (अतिरिक्त प्रभार ) आशीष कुमार ने 15 अप्रैल 2024 को उप जिला मजिस्ट्रेट सदर को पत्र भेजकर बेंक खाते के संचालन को जारी रखने का अनुरोध किया है। उन्होंने अपने लेटर में अंकित किया है कि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से इस प्रतिष्ठान के जल शोधन संयन्त्र के सम्बंध में 22 लाख रुपये अधिरोपित किया गया है। जिसके प्रतिवेदन मेें अध्यक्ष यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड लखनऊ के समक्ष एक अपील दायर किया गया है। जिसमें उनकी तरफ से शीध्र कार्रवाई का आश्वासन दिया गया है। यहीं नहीं महाप्रबंधक जो वर्तमान में जीएसटी इलाहाबाद के अतिरिक्त आयुक्त भी है उन्होंने व्यक्तिगत रुप से बोड्र के अध्यक्ष से वार्ता की है। जिसके अनुसार हमलोगों के प्रत्यावेदन को स्वीकार भी कर लिया गया है। महाप्र्रबंधक व प्रबंधक दोनों पदाधिकारी वर्तमान में निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार चुनाव र्प्यवेक्षक ड्यूटी में लगे हुए है।
जल्द ही आने वाला है अफीम का रैक
शासकीय अफीम एवं क्षारोद कारखाना के महाप्रबंधक (अतिरिक्त प्रभार ) आशीष कुमार ने यह भी बताया है कि बहुत जल्द ही अफीम का रैक नंदगंज रेलवे स्टेशन पर पहुंचने वाला है। उक्त रैक को नंदगंज से एक प्रतिष्ठान में लाना है। उक्त धनराशि के अधिरोहण के बारे में मुख्यालय के संज्ञान में लाया जा चुका है। ऐसे में यदि बैंक का खाता नहीं खुला तो अत्यधिक परेशानी का सामना करना पड़ेगा।
वर्जन
यूपी प्रदूषण बोर्ड का 22 लाख रुपये का बकाया फैक्ट्री पर है। कई बार नोटिस भेजने के बाद भी बकाया धनराशि को फैक्ट्री प्रशासन द्वारा जमा नहीं कराया गया। ऐसे में आरसी जारी हो गई है। सम्भवतः 22 अप्रैल यानि सोमवार को उच्चाधिकरियों के वार्ता के बाद फैक्टी के फ्रिज खाते को ओपेन कर दिया जायेगा। लालजी विश्वकर्मा- सदर तहसीलदार